क्‍या है अस्‍थमा 10 Asthma प्रकार के होते हैं? लक्षण ,बचाव, प्राकृतिक तरीके,विभिन्न जड़ी-बूटियाँ और कुछ फूड सप्लीमेंट  से उपचार Best

अस्थमा कैसे होता है? जानें, इसके 10 प्रकार, लक्षण ,बचाव और प्राकृतिक, फूड सप्लीमेंट से Best उपचार

आज के समय में बीमारी का सबसे बड़ा कारण है प्रदूषण, मौसम में बदलाव के कारण हर घर में व्यक्ति किसी न किसी बीमारी से ग्रसित हो रहे हैं। जिनमें से एक अस्थमा है कुछ ऐसे एलर्जी वाले फूड्स हैं जिनकी वजह से सांस संबंधी अस्थमा(Asthma) की बीमारी एक खतरनाक बीमारी है। यह एक ऐसी बीमारी है कि अगर किसी व्यक्ति को हो जाए तो यह जिंदगी भर रहती है।, परंतु कुछ दवाओं और एहतियात के जरिए हम इस पर काबू पा सकते हैं, दुनिया में तकरीबन 33 करोड़ से ज्यादा लोग इस बीमारी से पीड़ित हैं और हर साल तकरीबन ढाई लाख मौत इस बीमारी के कारण होती हैं।

क्‍या है अस्‍थमा

अस्थमा (दमा) फेफड़ों की एक बीमारी है जिसके कारण सांस लेने में कठिनाई होती है। अस्थमा होने पर श्वास नलियों में सूजन आ जाती है जिस कारण श्वसन मार्ग सिकुड़ जाता है। श्वसन नली में सिकुड़न के चलते रोगी को सांस लेने में परेशानी, सांस लेते समय आवाज आना, सीने में जकड़न, खांसी आदि समस्‍याएं होने लगती हैं।

अस्‍थमा के 10 प्रकार

लक्षणों के आधार अस्थमा के दो प्रकार होते हैं- बाहरी और आंतरिक अस्थमा। बाहरी अस्थमा बाहरी एलर्जन के प्रति एक प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया है,

  1. एलर्जिक अस्थमा
  2. नॉनएलर्जिक अस्थमा
  3. नॉक्टेर्नल यानी नाइटटाइम अस्थमा
  4. कफ वेरिएंट अस्थमा
  5. एक्सरसाइज इनड्यूस अस्थमा
  6. मिक्सड अस्थमा
  7. ऑक्यूपेशनल अस्थमा
  8. मिमिक अस्थमा
  9. एडल्ट ऑनसेट अस्थमा
  10. चाइल्ड ऑनसेट अस्थमा

अस्थमा के लक्षण

  • साँस फूलना,साँस लेने में तक़लीफ़ होना ,साँस उखड़ जाना 
  • अत्यधिक ख़ासी आना
  • अत्यधिक थकान महसूस करना
  • कोहरे या धुएं से एलर्जी होना
  • रात में या सुबह के समय स्थिति और गंभीर हो जाना।
  • ठंडी हवा में सांस लेने से हालत गंभीर होना।
  • व्यायाम के दौरान स्‍वास्‍थ्‍य और ज्‍यादा खराब होना।
  • गंभीर स्थिति में कई बार उल्टी लगने की भी संभावना बढ़ जाती है।
  • सांस लेते समय सीटी जैसा आवाज निकलना सांस की तकलीफ और छाती में जकड़न महसूस होना
  • थकावट- थकान का एहसास होना विभिन्न प्रकार के दमा के लक्षण अलग-अलग होते हैं।

उपरोक्त लक्षणों के लगातार संकेतों से इशारा मिलता है कि चिकित्सक से मिलना आवश्यक है और जितनी जल्दी मिले उतना ही बेहतर होगा। 

अस्‍थमा से बचाव

  • अस्‍थमा में इलाज के साथ बचाव की अवश्‍यकता ज्‍यादा होती है। अस्‍थमा के मरीजों को बारिश और सर्दी से ज्‍यादा धूल भरी आंधी से बचना चाहिए। बारिश में नमी के बढ़ने से संक्रमण की संभावना ज्‍यादा होती है। इसलिए खुद को इन चीजों से बचा कर रखें।
  • ज्‍यादा गर्म और ज्‍यादा नम वातावरण से बचना चाहिए, क्‍योकि इस तरह के वातावरण में मोल्‍ड स्‍पोर्स के फैलने की संभावना बढ़ जाती है। धूल मिट्टी और प्रदूषण से बचें।
  • घर से बाहर निकलने पर मास्‍क साथ रखें। यह प्रदूषण से बचने में मदद करेगा।
  • सर्दी के मौसम में धुंध में जानें से बचें। धूम्रपान करने वाले व्‍यक्तियों से दूर रहें। घर को डस्‍ट फ्री बनाएं।
  • एलर्जी वह जगह और चीजों से दूर रहें। हो सकते तो हमेशा गर्म या गुनगुने पानी का सेवन करें।
  • उन रसायनों और उत्पादों से दुरी बनाए रखें जो पहले सांस लेने की समस्या का कारण रहे हैं।

अस्‍थमा का Best उपचार

Best प्राकृतिक तरीके,विभिन्न जड़ीबूटियाँ और कुछ फूड सप्लीमेंट जिनके उपयोग से अस्थमा का  इलाज किया जाता है। इनका प्रयोग प्राकृतिक चिकित्सकों के निर्देशन में करना चाहिए। यदि आप किसी विशिष्ट समस्या के बारे में चर्चा करना चाहते हैं, तो आप परामर्श कर सकते हैं

निष्कर्ष

इस दुनिया में जहां भी आप नजर उठाएंगे हर व्यक्ति किसी न किसी बीमारी से जूझता है, और यह बहुत खतरनाक है। आज के  वातावरण में हर कोई अपनी व्यस्त जीवनशैली में खुद पर ध्यान नहीं दे पाता और कई सारी ऐसी गलतियां कर बैठता है जिसके कारण बीमारी हो जाती है।

बहुत कम ही लोग इस दुनिया में ऐसे होंगे जो किसी बीमारी से मुक्त हों। किसी को मधुमेह है तो किसी का ब्लड प्रेशर हाई है, वहीं किसी को कैंसर है तो किसी को अस्थमा। इस बात का ख्याल रखें कि अस्थमा की बीमारी एक खतरनाक बीमारी है। इससे बचाव जरूरी है। 

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